महाकुंभ का पर्व प्रयागराज का गौरव बना : केशव प्रसाद मौर्या

प्रयागराज । काव्य चकल्लस आयोजन समिति द्वारा आयोजित अखिल भारतीय कवि सम्मेलन कीडगंज थाने के समीप विगत वर्षों की भांति इस वर्ष भी रचनाकारों की एक से बढ़कर एक पंक्तियों के साथ श्रोताओं के सम्मुख संपन्न हुई। आधी रात तक श्रोतागण झूमते रहे। इस अवसर पर प्रयागराज नगर निगम के संयोजन में आयोजित सेवा सम्मान समारोह में कार्यक्रम के अंतर्गत मुख्य अतिथि माननीय उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने महाकुंभ मेले के दौरान सेवा करने वाले सम्मानित कुल 522 कुंभ सेवा नायको के रूप में स्वयं समाजसेवी, व्यापारीगण, एवं पाषर्दगणों ,सफाई कर्मियों एवं तीर्थ पुरोहितों नाविकों साहित्यकारों गीतकारों, को प्रशस्ति पत्र प्रदान कर सम्मानित किया और कहा कि महाकुंभ का पर्व प्रयागराज पूरी दुनिया के लिए गौरव बना और महाकुंभ के दौरान प्रयागराज वासियों ने जिस प्रकार से सेवा का उत्कृष्ट उदाहरण प्रस्तुत किया है पूरे विश्व में इसकी सराहना हो रही है और कहा कि महापौर गणेश केसरवानी के नेतृत्व नगर निगम प्रयागराज के द्वारा स्वच्छता को लेकर किए गए कार्य प्रयागराज की गरिमा और गौरव को बनाए । रखा ।
      इस काव्य चकल्लस समिति के संरक्षक महापौर श्री उमेश चंद्र गणेश  केसरवानी ने इस अवसर पर कहा कि रचनाकारों को सम्मानित करना एवं उनकी कविताओं का श्रवण करना दोनों ही महत्वपूर्ण है। रचनाकारों के माध्यम से विश्व समाज को अत्यधिक समृद्ध किया जा सकता है,रचनाकारों ने राष्ट्र की लड़ाई से लेकर देश की साहित्यिक सांस्कृतिक सामाजिक राजनीतिक विकास के गतिविधियों में भी अपनी अग्रणी भूमिका निभाई है।
कवि सम्मेलन का शुभारंभ देश की श्रेष्ठ उद्घोषिका कवियित्री डॉ आभा मधुर श्रीवास्तव वाणी वंदना के साथ किया।
उन्होंने वाणी वंदना के साथ काव्य पाठ कर श्रोताओं को आह्लादित कर डाला।
नखरैली गुलनार हाय मै पीली हो गई,
आया होली का त्यौहार चुनर मेरी नीली हो गई।
तदुपरांत युवा हास्य कवि अमित जौनपुरी ने अपनी होली की रचनाओं से श्रोताओं को भरपूर हंसाया।
लकड़ी बुझी बा न पूड़ी बनत बा,
चूल्हा पे खाली कढ़ाई जरत बा
कौवा उड़ा लेके गुजिया दूंई तल्ला,मची देखा होली मोहल्ला मोहल्ला
रायबरेली से पधारे हास्य कवि नर कंकाल ने अपनी रचनाओं से श्रोताओं को जमकर हंसाया।
कोई पानी बेंचता है कोई खून बेंचता है
कोई हवा बेंचता है
कोई बैलून बेंचता है
अजीब देश है यहाँ एक प्रेमी कुंभ में दातून बेंचता है ।
देश के प्रतिष्ठित गीतकार शैलेंद्र मधुर ने अपने गीतों से श्रोताओं को मंत्र मुग्ध कर दिया।
आंधी चराग साथ है होगा नहीं दंगा ,
मन है यदि चंगा, तो कठौती में भी गंगा,
चेहरे पे मुखौटे लगा के घूम रहे हैं,
झूठों के इस बाजार में सच्चा हुआ नंगा ।
जबलपुर से पधारी श्रेष्ठ कवियत्री मणिका दुबे की गीतों गजलों से श्रोताओं को भरपूर आनंदित किया।
शहर के शोर में वीरनियाँ हैं
यहाँ तुम हो मगर तन्हाइयाँ हैं
वहीं पे बैठ के अरसा गुज़ारूँ
जहाँ तेरी मेरी परछाइयाँ हैं।
नई दिल्ली से पधारे ओज के सशक्त हस्ताक्षर उपेंद्र पांडेय ने अपनी राष्ट्रीय पंक्तियों से श्रोताओं में जोश भर डाला ।
यह सुभाष का देश है मेरा,
इसको यदि बचाना है !
जैसे को तैसे की नीति,
सरहद पर अपनाना है ।
कानपुर से पधारे ओज के प्रख्यात रचनाकार मुकेश मानक ने अपनी पंक्तियों से श्रोताओं को सोचने पर विश्वास कर डाला ।
भारत माता रो ही देगी,
  अंगार काम कर जाएंगे
    औरंगजेब यदि मरा नही
   अब्दुल कलाम मर जाएंगे
तत्पश्चात वरिष्ठ गीतकार रायपुर छत्तीसगढ़ से पधारे रमेश विश्वहार ने अपनी कविताओं से श्रोताओं को आह्लादित कर डाला।
भौंरे हैं गुनगुनाने लगे फूल फूल पर
प्रतिबंध लग गए है यहां हर उसूल पर फागुन है रूठने और मनाने का महीना सारी खताएं माफ हैं होली में भूल पर ।
   हास्य कवि अखिलेश द्विवेदी ने अपनी रचनाओं से श्रोताओं को जमकर हंसाया।
तुम मेरी फिजा मैं हूं तेरा चांद मोहम्मद।
हास्य कवि योगेश झमाझम ने अपने रचनाओं से श्रोताओं को भरपूर गुदगुदाया।
 मेल हो फीमेल कॉमन सेंस होना चाहिए,
प्यार के चश्मे में लगा लेंस होना चाहिए।
  इसके पूर्व महापौर गणेश केसरवानी ने माननीय उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य, हाई कोर्ट के जज शेखर यादव, केपी ट्रस्ट अध्यक्ष सुशील कुमार सिन्हा,भाजपा महानगर अध्यक्ष संजय गुप्ता, डॉक्टर उदय प्रताप सिंह, पूर्व सांसद रीता बहुगुणा जोशी, केसरी देवी पटेल, जिला पंचायत अध्यक्ष वीके सिंह सांसद प्रवीण पटेल, विधायक हर्षवर्धन बाजपेई ,दीपक पटेल, सुरेंद्र चौधरी,का एवं समस्त कुंभ सेवा नायकों का स्वागत किया
     संचालन आभा मधुर श्रीवास्तव ने किया ।
 इस अवसर राजेश केसरवानी, मनीष केसरवानी, संस्कार सिंह अजय जायसवाल, ईशू केसरवानी ,विवेक अग्रवाल ,ननका ,लल्लन जायसवाल, सुभाष केसरवानी, गोपी केसरवानी, आदि रहे

Related posts

Leave a Comment