प्रयागराज। विश्व एड्स दिवस जगत तारन गोल्डेन जुबली इण्टर कालेज प्रयागराज के परिसर मे एड्स रोकथाम एंव नियंत्रण इकाई प्रयागराज की ओर से एड्स पर जागरूकता संगोष्ठी आज हुई । कार्यक्रम का शुभारंभ मुख्य अतिथि उप्र किन्नर वेलफेयर बोर्ड की वरिष्ठ सदस्य / किन्नर अखाड़ा उप्र की प्रदेश अध्यक्ष महामंडलेश्वर स्वामी कौशल्यानंद गिरि, किन्नर अखाडा प्रयागराज की महामण्डलेश्वर स्वामी कल्याणीनंद गिरि, श्रीमहंत वैष्णवीनंद गिरि, एड्स नियंत्रण कार्यक्रम के जिला कार्यक्रम प्रबंधक डा. रोहित पाण्डेय ने कालेज के सभागार में दीप प्रज्वलित कर संगोष्ठी का शुभारंभ किया।
उप्र किन्नर वेलफेयर बोर्ड की वरिष्ठ सदस्य / किन्नर अखाडा की प्रदेश अध्यक्ष महामंडलेश्वर स्वामी कौशल्यानंद गिरि ने एड्स से बचाव और सतर्कता पर विस्तार से प्रकाश डालते हुए कहा कि लोगों की जागरूकता से एड्स के मरीजों की संख्या में दिनों दिन कमी आती जा रही है। उन्होंने कहा कि आप सब देश के आने वाले भविष्य है ऐसे में सबसे जरुरी है कि आप सभी घर – परिवार से लेकर समाज तक सभी को जागरूक करें जिससे कि एड्स जैसी भयंकर बीमारी से लोग सुरक्षित रह सके। उन्होंने बच्चों को एड्स फैलने, लक्षण और बचाव की जानकारी दी। किन्नर अखाडा प्रयागराज के महामंडलेश्वर स्वामी कल्याणीनंद गिरि ने बच्चों को जागरुक करते हुए एड्स पीडितों की मदद करने और समाज में उनको समानता का दर्जा देने की बात कही। उन्होंने बच्चों से कहा कि एड्स पीडितों के संपर्क में आने से, छूने से, साथ खाना खाने से एड्स नही होता है। किन्नर अखाडा की श्रीमहंत वैष्णवीनंद गिरि ने अंग्रेजी में बच्चों को एड्स से बचाव के लिए बच्चों को जागरूक किया। एड्स नियंत्रण कार्यक्रम के जिला कार्यक्रम प्रबंधक डॉ. रोहित पाण्डेय ने कालेेज के छात्र- छात्राओको संबोधित करते हुए कहा कि “वर्ष 2022 में विश्व एड्स दिवस की थीम एक्युलाइज यानी समानता निर्धारित की गई है। इसके अंतर्गत समाज में फैली हुई असमानताओं को दूर करने की दिशा में कार्य किया जाना है। भ्रांतियों को छोडकर हमें यह समझना होगा की एच.आई.वी. एड्स संक्रमित व्यकक्ति के साथ सामान्य संबंधो से जैसे कि हाथ मिलाने, एक साथ खाना खाने, एक ही घडे का पानी पीने, एक ही बिस्तयर के प्रयोग से व एक ही कमरे अथवा घर में रहने, एक शौचालय, स्नानघर के प्रयोग व बच्चों के साथ खेलने से यह रोग नहीं फैलता है। यह ठंड या फ्लू की तरह हवा के माध्यम से भी नहीं फैलता है।“जनपद में एड्स रोकथाम के प्रयासों की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि “जागरूकता के अभाव के कारण एचआईवी एड्स से संक्रमित मरीज समाज और परिवार की उपेक्षा शिकार होता है। एड्स रोगी की उपेक्षा करना व उससे दूर रहना कतई ठीक नहीं है। हमारा संवेदनशील व्यवहार किसी पीड़ित की बीमारी से लड़ने की हिम्मत बढ़ा सकता है। अन्य की तरह एड्स मरीज के साथ भी समान व्यवहार करें। उन्होंने कहा की छात्र-छात्राओं की जागरूकता से हर घर जागरूक होगा। इससे हम एड्स के प्रति लोगों को जागरूक स्वस्थ एवं जागरूक समाज की सफल परिकल्पना कर सकते हैं। डॉ. रोहित पाण्डेय ने बताया कि “प्रदेश सरकार के समन्वय से जनपद का स्वास्थ्य महकमा एचआईवी/एड्स उन्मूलन की दिशा में लगातार कठिन प्रयास कर रहा है। आधुनिक चिकित्सा की वजह से एचआईवी से पीड़ित लोगों का सामान्य जीवन जीना काफी हद तक संभव हो गया है। अगर एचआईवी के साथ आपको टीबी, इन्फेक्शन और कैंसर जैसे रोग नहीं है, तो आप सामान्य उपचार के साथ बेहतर जीवन जी सकते हैं। जिले में अप्रैल 2022 से लगभग 475 एचआईवी के मामले सामने आ चुके हैं वही विगत तीन वर्ष में लगभग 1800 एच.आई.वी के केस सामने आये हैं उन्होंने बताया कि एचआईवी से पीडित मरीजो का इलाज़ जनपद के ए.आर.टी सेंटर से चल रहा है।“ डा रोहित ने HIV / AIDS होने के कारण बचाव के तरीके, इलाज आदि के बारे मे विस्तार पूर्वक बताया और छात्र-छात्राओ के साथ प्रश्नोत्तर कर उनकी जिज्ञासाओ को शांत भी किया। जगत तारन गोल्डेन जुबली इण्टर कालेज की प्रधानाचार्या श्रीमती सुष्मिता कानूनगों ने बच्चों को एड्स को लेकर सामाजिक भ्रान्तियों को दूर करते हुए पीडितों की मदद करने के लिये प्रोत्साहित करते हुए कहा कि वह भी अपने है और उनके साथ समानता का व्यवहार होना चाहिए। उधर, डा रोहित पाण्डेय ने जीवन ज्योति नर्सिंग कालेज चाका में भी विश्व एड्स दिवस के उपलक्ष्य मे संगोष्ठी हुई।