शब्दो को सम्मान मिलेगा,,,,,,

शब्दो को सम्मान मिलेगा
एक नया अस्थान मिलेगा
लिखते रहना मेरे दिल तू
एक नया आष्मान मिलेगा
शब्दो को सम्मान मिलेगा,,,,,2
शब्द नही कभी होते खाली
ये तो सदा ही बने सवाली
शब्दो मे बड़ा भाव भरा है
थोड़ा दर्द थोड़ा घाव भरा हैं
अपने पन का भाव भरा हैं
शब्दो को सम्मान मिलेगा
एक नया आष्मान  मिलेगा,,,,2
यहां नही हैं कोई कोरी कल्पना
हर कल्पना में जिवन का सारांश बसा  हैं,
हर गीत गजल और कविता
में प्रेम रिस्ते व सुन्दर सपनो
का एक पूरा संसार बसा हैं,
शब्दो को सम्मान मिलेगा,,,,2
ज्ञान ध्यान अनुसन्धान के
अन्दर शब्दो का बड़ा योगदान
छुपा हैं,
इन्हीं शब्दों में बसी हैं गीता और
बाइबल गुरुवाणी का ज्ञान छुपा
हैं,,इशलिये तो मैं कहता हूं
शब्दो को सम्मान मिलेगा,,,,,,2
सही शब्दो का कर के सन्चय
एक सुन्दर शब्दा वली बनाओ,
शब्दो का  संसार बनाकर ,
उसमें से गीत गजल कविता
ले आवो, शब्दो को सम्मान मिलेगा एक उचीत अस्थान मिलेगा,,,,,,,,2
कवी : रमेश हरीशंकर तिवारी
(रसिक बनारसी )

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