उत्तर मध्य रेलवे मुख्यालय में संरक्षा, समयपालनता और आधारभूत संरचना के विकास कार्यों की समीक्षा बैठक आयोजित

प्रयागराज  महाप्रबंधक राजीव चौधरी की अध्यक्षता में उत्तर मध्य रेलवे के प्रमुख विभागाध्यक्षों और आगराइलाहाबाद और झांसी मंडलों के साथ एक वीडियो कॉन्फ्रेंस आयोजित की गई। वीडियो कॉन्फ्रेंस की एजेंडा सूची में ट्रेन संचालन और संबंधित मुद्दों में संरक्षा का विषय प्रमुख था। उत्तर मध्य रेलवे में कई नई परिसंपत्तियाँ निर्माणाधीन हैं जिनमें नई लाइनेंदोहरीकरणडीएफसी का निर्माणविद्युतीकरणऑटोमेटिक सिग्नलिंगयार्ड रीमॉडेलिंग आदि कार्य शामिल हैं। इन परियोजनाओं को उत्तर मध्य रेलवे की निर्माण इकाईआरवीएनएलडीएफसीसीआईएलएनसीआरपीयू आदि जैसी कई एजेंसियों द्वारा क्रियांवित किया जा रहा है और इनमें से अधिकांश कार्यों में रेलवे लाइनों के निकट काम करने के दौरान रनिंग ट्रेन की इंनफ्रिंजमेंट की किसी भी संभावना से बचने के लिए कार्य स्थल पर संरक्षा मानदंडों का पालन करना आवश्यक है। कार्य स्थल की संरक्षा पर बोलते हुए महाप्रबंधक श्री राजीव चौधरी ने सभी कार्यकारी एजेंसियों द्वारा कार्य स्थल की संरक्षा के उच्चतम मानकों को बनाए रखने पर बल दिया। उन्होंने स्पष्ट रूप से निर्देश देते हुए मंडलों को कहा कि रनिंग ट्रैक के पास किसी भी कार्य की अनुमति नहीं दी जाए जब तक कि उसी के लिए अनुमोदित ड्राइंग कार्यकारी एजेंसी द्वारा उपलब्ध नहीं कराई गई हो। ट्रेन संचालन में संरक्षा के अलावाउत्तर मध्य रेलवे ने अपने कर्मचारियों की व्यक्तिगत सुरक्षा को सुनिश्चित करने के लिए कई पहल की हैं। इसके तहत अलग-अलग कार्य परिस्थितियों की आवश्यकता के अनुसार पटरियोंयार्डट्रेनों और अन्य कार्य स्थानों पर काम कर रहे कर्मियों के लिए व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरणों के प्रावधान किए गए हैं। इस प्रयास में आगे बढ़ते हुए उत्तर मध्य रेलवे अब अपने ट्रैकमैन और यार्ड आदि में काम करने वाले अन्य कर्मचारियों के लिए माइनर्स लैंप युक्त सेफ्टी हेलमेट प्रयुक्त किया जा रहा है। यह रिचार्जेबल एलईडी टॉर्च लाइट फिटेड हेलमेट रात के दौरान उचित दृश्यता में मदद करेगा और हैंड्स फ्री होने से ट्रैकमैन को कुशल तरीके से अपने कर्तव्यों का निर्वहन करने में सहायक होगा। इससे ट्रेन चालक को ट्रैकमैन को दूर से देखने में भी मदद मिलेगीताकि ट्रेन के पास आने पर ट्रैकमैन को चेतावनी देने के लिए लोको की सीटी बजाई जा सके। इस तरह के कुछ हेलमेट पहले से ही डिवीजनों द्वारा खरीदा जा चुका है और महाप्रबंधक श्री चौधरी ने डिवीजनों को निर्देशित किया कि वे जल्द से जल्द इस उपयोगी सुरक्षा गैजेट सभी रात्रिकालीन गश्त करने वाले कर्मचारियों को प्रदान करें।
आधारभूत संरचना के विकास के क्रम में उत्तर मध्य रेलवे ने हाल ही में झांसी मंडल में चिरगाँव और इलाहाबाद मंडल में गोविंदपुरी में इलेक्ट्रॉनिक इंटरलॉकिंग के महत्वपूर्ण कार्य पूरे किए हैं। इलाहाबाद मंडल ने कानपुर सेंट्रल स्टेशन पर यार्ड मॉडिफिकेशन की भी योजना बनाई हैजिससे कानपुर में ट्रेन हैंडलिंग सुविधा में सुधार होगा और प्लेटफॉर्म नंबर और की लंबाई भी बढ़ेगी। महाप्रबंधक श्री चौधरी ने निर्देश दिया कि अगले वित्तीय वर्ष में लक्षित कार्यों की विस्तृत योजना भी बनाई जानी चाहिए ताकि पहले ही संभावित बॉटलनेक की पहचान की जा सके। अगले वर्ष के दौरान उत्तर मध्य रेलवे में किए जाने वाले कुछ महत्वपूर्ण कार्यों में शामिल हैं- पनकी – भाउपुर और मारीपत – दादरी के मध्य चौथी लाइन और चंदारी- चकेरी खंड में तीसरी लाइन। उत्तर मध्य रेलवे ने 2019 में चुनार – चोपन खंड का विद्युतीकरण भी पूरा कर लिया है जिससे इस खंड की ट्रेन परिचालन की क्षमता बढ़ गई है। उत्तर मध्य रेलवे अब इस खंड के सिग्नलिंग और ट्रैक बुनियादी ढांचे में महत्वपूर्ण इनपुट देने की योजना बना रहा है ताकि इस खंड में गति बढ़ाई जा सके और इससे पर्याप्त परिचालन क्षमता में वृद्धि होगी। इस खंड के अतिरिक्त उपयोग से चुनार और पं. दीन दयाल उपाध्याय जं के मध्य सुपर सेचुरेटेड मुख्य लाइन पर गाड़ियों की समयपालनता में अवश्य ही सुधार होगा।
समयपालनता के विषय में चर्चा करते हुएमहाप्रबंधक श्री चौधरी ने निर्देश दिया कि शीघ्र ही कोहरे का मौसम जल्द ही समाप्त होगा अत: गाड़ियों की समयपालनता को समग्र प्रयासों के माध्यम से बेहतर करने की आवश्यकता है। उन्होंने निर्देश दिया कि सभी मेल एक्सप्रेस ट्रेनों की निगरानी की जानी चाहिए और प्रत्येक ट्रेन के समय की हानि के कारण को निष्पक्ष रूप से देखा जाना चाहिए ताकि सुधारात्मक कार्यवाई की जा सके।

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