बतौर कप्तान पहले टेस्ट में ही कोहली ने नहीं मानी थी धोनी की बात, 48 रन से हार गया था भारत

भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी की शुरुआत नौ फरवरी से हो रही है। इससे पहले ही इस सीरीज को लेकर काफी बात हो रही है। इस बीच पूर्व फील्डिंग कोच आर श्रीधर ने 2014 में भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच हुई टेस्ट सीरीज से जुड़ी मजेदार घटना बताई है। इस सीरीज के बीच में ही धोनी ने टेस्ट क्रिकेट से संन्यास का एलान कर दिया था। ऐसे में विराट कोहली भारत के नए टेस्ट कप्तान बने थे।

विराट ने बतौर कप्तान अपना पहला टेस्ट सिडनी में खेला था। इस मैच की पहली पारी में कोहली ने शतक लगाया था और टीम इंडिया मैच में बराबरी पर थी। ऐसे में चार दिन का खेल खत्म होने के बाद टीम के खिलाड़ियों के बीच यह बात हो रही थी कि अगर ऑस्ट्रेलिया ने आखिरी दिन 350 रन का लक्ष्य दिया तो भारत जीतने की कोशिश करेगा। कंगारू टीम ने ऐसा ही किया और भारत के सामने 364 रन का लक्ष्य रखा।

ऐसे में कप्तान विराट साफ थे कि भारतीय टीम हर ओवर में चार रन बनाने की कोशिश करेगी और मैच जीतने की कोशिश करेगी। ऐसे में धोनी उनके पास आए और कहा कि कप्तान बनने के बाद उन्हें पूरी टीम को ध्यान में रखकर सोचना चाहिए। विराट खुद ऐसा कर सकते हैं, लेकिन क्या पूरी टीम ऐसा करने में सक्षम है। इस पर विराट ने कहा था कि जब तक हम कोशिश नहीं करेंगे हमें कैसे पता चलेगा कि हम ऐसा करने में सक्षम हैं या नहीं।

सिडनी टेस्ट में पांचवें दिन भारत ने आक्रामक खेल दिखाया। कप्तान विराट ने 141 रन की पारी खेली। मुरली विजय ने भी 99 रन बनाए। जब तक ये दोनों मैदान में थे, तब तक भारत की जीत तय दिख रही थी, लेकिन यह जोड़ी टूटते ही नाथन लियोन ने नियमित अंतराल में विकेट लिए। हालांकि, भारत ने आक्रामक खेल जारी रखा और अंत में टीम इंडिया 48 रन से यह मैच हार गई थी। हालांकि, कोहली ने बतौर कप्तान अपने पहले ही टेस्ट में दिल जीत लिया था।

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